धोखाधड़ी मामले में लालगंज पुलिस विवेचना में कर सकती हैं बड़ा खेल - सूत्र
बस्ती ( लालगंज ) - तत्कालीन बहुचर्चित चौकी प्रभारी दुबौला राम भवन प्रजापति अपने मनचाहा कार्यों से हमेशा सुर्खियों में रहते हैं।
सूत्रों के मुताबिक राम भवन प्रजापति वर्तमान समय में लालगंज चौकी प्रभारी है और फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र जारी करने वाले मुख्य आरोपी सचिव शैलेन्द्र मणि त्रिपाठी के मामले की विवेचना कर रहे हैं। धोखाधड़ी मामले का मुख्य आरोपी सचिव शैलेन्द्र मणि त्रिपाठी पर जीवित आदमी को मृत्यु दिखाकर मृत्यु प्रमाण पत्र जारी करने का आरोप लगा है।
धोखाधड़ी मामले में लालगंज थाने में सचिव शैलेन्द्र मणि त्रिपाठी समेत चार लोगों के खिलाफ धोखाधड़ी समेत अन्य गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज है । लगभग 02 महीने बीतने वाला हैं । लालगंज पुलिस हाथ पर हाथ रख कर बैठी है । धोखाधड़ी मामले में विवेचना के नाम पर मामले को वारा न्यारा करने में विवेचक जुटे है।
धोखाधड़ी मामले के विवेचक राम भवन प्रजापति किसी को भी विवेचना की जानकारी देने के लिए तैयार नहीं है कि उक्त प्रकरण में क्या कार्रवाई चल रही है ? जांच कहां तक हो चुकी है और कहां तक जांच बाकी है यहां तक कि विवेचक मीडिया के फोन को भी रिसीव करना मुनासिब नहीं समझते हैं। विवेचक राम भवन प्रजापति को पता है कि हम यदि उक्त प्रकरण में चल रही जांच एवं कार्रवाई के बारे में जानकारी सार्वजनिक कर देगें तो पीड़ित / शिकायत कर्ता उच्च अधिकारियों / न्यायालय में याचिका दाखिल कर देगा और हमारा लेन - देन का खेल खत्म हो जायेगा इसीलिए विवेचक राम भवन प्रजापति धोखाधड़ी मामले में मुख्य आरोप सचिव शैलेन्द्र मणि त्रिपाठी के देख - रेख अर्थात् बचाव में है और सचिव शैलेन्द्र मणि त्रिपाठी की गिरफ्तारी करने से लालगंज पुलिस कन्नी काट रही है।
मुख्य आरोपी सचिव न्यायालय में भी जमानत याचिका दाखिल नही किया है और जमानत भी नहीं कराया है । मुख्य आरोपी सचिव को पता है कि यदि हम न्यायालय से जमानत कराने जायेंगे तो जमानत नही मिलेगी और जेल जाना पड़ेगा और निलंबित होन पड़ेगा एवं बाद में विवेचना में नाम निकालने में भी परेशानी होगी और छवि भी धूमिल होगी इसीलिए सबसे अच्छा कि एक मोटी रकम विवेचक को देकर धोखाधड़ी मामले से नाम ही निकलवा लेना ही ठीक है।
उक्त प्रकरण में थाना प्रभारी सुनील कुमार गौड़ ने मीडिया टीम को बताया कि धोखाधड़ी मामले के बारे में हमे पूरी जानकारी विवेचक राम भवन प्रजापति से कर लीजिए एवं सचिव की गिरफ्तारी के बारें में कहा कि हो सकता है कि मुख्य आरोपी सचिव शैलेन्द्र मणि त्रिपाठी निर्दोष हो । इस सम्बंध में सीओ रुधौली सतेन्द्र भूषण तिवारी ने बताया कि धोखाधड़ी मामले की पत्रावली विवेचक द्वारा पेश किया गया था।
उसमें कुछ बिन्दुओं ही जांच बाकी है जो पूरा करने के लिए विवेचक को निर्देश दिया गया है । उक्त प्रकरण में विवेचक / प्रभारी थानाध्यक्ष / सीओं रुधौली द्वारा अलग - अलग बयान दिया जा रहा है इससे स्पष्ट है कि धोखाधड़ी मामले में विवेचना में लालगंज पुलिस बड़ा खेल कर सकती हैं ।
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